साई मार्ग पर डिवाइडर का नहीं कोई औचित्य, दुर्घटनाओं की बढेंगी संभावनाएं : उर्मिला
– दून विधायक ने अपनी मनमर्जी से डिवाइडर बनवाकर बढ़ा दी लोगों की परेशानी
– बाजार के सैंकड़ों दूकानदार, खरीददार, स्कूली बच्चों को शुरू हो गई दिक्कतें
बद्दी 26 नवंबर, सतीश जैन
बद्दी साई मार्ग पर हालही में शुरू किया गया डिवाइडर निर्माण का कार्य, क्षेत्र की जनता के लिए परेशानियां पैदा कर चुका है। इसके निर्माण से रोजाना परेशानियों में बढ़ौतरी होगी। डिवाइडर निर्माण से क्षेत्र के एक भी व्यक्ति को लाभ नहीं होगा, बल्कि जनता के पैसों की बर्बादी का यह एक बड़ा उदाहरण प्रस्तुत किया जा रहा है। इसके निर्माण से जहां सड़क की चौड़ाई कम हो गई है, वहीं लोगों के पैदल चलने तक का रास्ता सड़क के किनारों पर नहीं बचा है। प्रतिदिन सैंकड़ों वाहनों से व्यस्त रहने वाला यह मार्ग अब दुर्घटनाओं के लिहाज से और भी अधिक संवेदनशील हो गया है। यह बात नगर परिषद बद्दी की पूर्व चेयरमैन उर्मिला गुरमेल चौधरी ने कही। उन्होंने कहा कि डिवाइडर निर्माण करवाने का फैसला दून विधायक का है और किसे लाभ पहुंचाने के लिए उन्होंने यह निर्माण कार्य शुरू करवा दिया है, जनता अब इसका जवाब मांग रही है। इसके निर्माण से शहर का हर व्यक्ति परेशान है।
उर्मिला गुरमेल चौधरी ने कहा कि डिवाइडर यदि अत्याधिक जरूरी था भी तो उसे प्लास्टिक या रेलिंग लगाकर भी बनाया जा सकता था, लेकिन पहले से सड़क की चौड़ाई काफी कम थी और अब कंक्रीट की दीवार लगाकर साई मार्ग को और भी ज्यादा संकुचित कर दिया है। डिवाइडर लग जाने से अब सड़क काफी छोटी हो गई है और दुर्घटनाओं की संख्या बढ़ने लगी है। सरकारी पैसों की इस कद्र की जा रही बर्बादी को जनता बिलकुल भी सहन नहीं करेगी। स्थानीय प्रशासन व नेताओं को यह निर्णय वापस लेना होगा। यह फैसला शहर के हित में बिलकुल भी नहीं है। इससे पहले स्कूल के बच्चे भी साई मार्ग आसानी से क्रॉस कर लेते थे, लेकिन अब डिवाइडर लगाए जाने से उन्हें भी यह क्रॉस करने में परेशानी उठानी पड़ रही है। तंग जगह होने के कारण दूकानदारों का कारोबार चौपट होने लगा है। पहले कोई दोपहिया वाहन इस मार्ग पर आसानी से खड़ा कर सकता था, लेकिन अब ऐसा भी कर पाना संभव नहीं हो सकेगा। इसके चलते दूकानदारों के पास जब ग्राहक ही खड़ा नहीं हो सकेगा तो दूकानदार महंगी किराये की दूकानों पर किस तरह से अपना कारोबार चला सकेंगे। पूर्व चेयरमैन ने कहा कि विधायक द्वारा अपनी जमीनों के आगे भी अवैध रूप से रेहड़ी फड़ी का बाजार सजाया हुआ है, जहां से उन्हें किराया मिल रहा है। विधायक को सबसे पहले उन दूकानों को खाली करवाकर जमीन छोड़नी चाहिए। आज शहर के व्यापारियों को जिस कद्र खदेड़ा जा रहा है, यह कांग्रेस राज में ही संभव है। कांग्रेस के राज में प्रशासन का डंडा केवल गरीब व आम लोगों पर ही चलता है। उर्मिला गुरमेल चौधरी ने कहा कि दून के विधायक जनता की भलाई का ध्यान भूलकर वह अपने निजी फायदों के लिए इस तरह के फैसले ले रहे हैं, जिसका खामियाजा आम जनता को भुगतना पड़ रहा है। इस तरह की योजनाओं को जनता के साथ चर्चा के बाद ही सुनियोजित तरीके से लागू करना चाहिए था, लेकिन स्थानीय प्रशासन व नेता इसमें नाकाम साबित हुए हैं।
